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न्यास के खाली पद विकास में बने बाधक

- यूआइटी में एक  तिहाई पद खाली, सचिव सहित तीन अधिकारी काम चलाऊ व्यवस्था के तहत संभाल रहे पद
श्रीगंगानगर। नगर विकास न्यास में सचिव सहित तीन महत्वपूर्ण पदों पर काम चलाऊ व्यवस्था के तहत अधिकारी प्रतिनियुक्त हैं। इसके अलावा न्यास में स्वीकृत 82 में से 25 से अधिक पद खाली पड़े हैं। लम्बे समय से रिक्त पदों को सरकार ने नहीं भरा। ऐसे में आमजन के काम समय पर नहीं होना व मौजूदा अधिकारियों कर्मचारियों पर कार्यभार अधिक होना आम बात हो गई है।
न्यास सूत्रों के अनुसार वर्तमान में यूआईटी के पास खुद का स्थाई सचिव भी नहीं हैं। यह पद काम चलाऊ व्यवस्था के तहत जिला परिषद की अतिरिक्त मुख्य कार्यकारी अधिकारी हरीतिमा के सुपुर्द किया हुआ है। इसी तरह डबल एओ व टीपीए के रिक्त पदों को भी ऐसी ही व्यवस्था के तहत अन्य अधिकारियों की प्रतिनियुक्ति से भरा गया है।
यूआइटी में एक्सइएन का एक पद स्वीकृत है। यह पद वर्तमान में फुटबाल बना हुआ है। कुछ समय पहले तक इस पद पर तकनीकि अधिकारी संदीप नागपाल पदस्थापित थे। बाद में उनके स्थान पर महेश गोयल को लगाया गया। महेश गोयल के तबादला आदेश के बाद इस पद पर मंगत सेतिया को पदस्थापित करने के आदेश हुए।
बीच में सेतिया को नगर परिषद का भी अतिरिक्त कार्यभार सौंपा गया। इस दौरान सेतिया को यूआईटी में पूर्णकालिक नियुक्ति के आदेश भी हुए। सेतिया को फिर से नगर परिषद भेजा गया। पिछले दिनों यूआइटी में एक्सइएन के पद पर देवेन्द्र कुमार केवलिया को लगाने के आदेश हुए। केवलिया कार्यभार संभालते, उससे पहले ही केवलिया को एपीओ करने के नए आदेश आ गए। यह पद खाली ही रह गया।
न्यास की निर्माण शाखा में सहायक अभियंता के चार पद स्वीकृत हैं। इनमें से दो पद खाली बताए जा रहे हैं। शेष दो अभियंताओं में से भी एक को एटीपी के पद पर प्रतिनियुक्त किया हुआ है। इसके साथ एसएलओ का एक पद खाली है। कार्यालय अधीक्षक का पद भी खाली है। कनिष्ठ अभियंता सिविल के नौ में से आठ पद रिक्त हैं। कनिष्ठ अभियंता विद्युत का पद भी लम्बे समय से खाली बताया जा रहा है। बिल्डिंग इंस्पेक्टर, स्टेनो के 2 मेें से 1, यूडीसी के 3 में से 1, एलडीसी के 13 में से 3, टीआरए का 1, इलेक्ट्रीशियन ग्रेड फस्र्ट, उद्यान निरीक्षक के दोनों पद, फैरो मैन, चतुर्थ श्रेणी का 1 व ड्राइवर के दोनों पद खाली हैं।


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