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'वे आग से खेल रहे हैंÓ

- सीजेआई मामले में साजिश के दावे पर सुप्रीम कोर्ट की टिप्पणी
- फैसला भी आया, पूर्व जज एके पटनायक करेंगे जांच
नई दिल्ली। प्रधान न्यायाधीश रंजन गोगोई पर लगे यौन उत्पीडऩ के आरोप को लेकर सुप्रीम कोर्ट में गुरुवार को भी सुनवाई हुई। उच्चतम न्यायालय ने साजिश के दावे पर जांच के आदेश दिए हैं। सुप्रीम कोर्ट ने सीबीआई निदेशक और आईबी चीफ को जस्टिस एके पटनायक के साथ सहयोग करने के लिए भी कहा। रिटायर्ड जस्टिस एके पटनायक को उत्सव बैंस के आरोपों की जांच के लिए नियुक्त किया गया है। उत्सव बैंस ने दावा किया था कि सीजेआई रंजन गोगोई को यौन उत्पीडऩ मामले में फंसाने की साजिश है। इससे पहले सुप्रीम कोर्ट ने न्यायपालिका पर ''सोच समझकर किए जा रहे हमलेÓÓ पर  नाराजगी जताई और कहा कि अब इस देश के अमीर और ताकतवर लोगों को यह बताने का समय आ गया है कि वे ''आग से खेल रहेÓÓ हैं और यह रुक जाना चाहिए।
न्यायमूर्ति अरुण मिश्रा, न्यायमूर्ति आर एफ नरिमन और न्यायमूर्ति दीपक गुप्ता की पीठ ने कहा कि पिछले तीन-चार साल से न्यायपालिका से जिस प्रकार पेश आया जा रहा है, वह उससे बेहद नाराज है।  पीठ ने कहा, 'पिछले कुछ वर्षों से जिस तरीके से इस संस्था से पेश आया जा रहा है, उसे देखकर हमें कहना पड़ेगा कि यदि ऐसा होगा तो हम काम नहीं कर पाएंगे।Ó
बता दें कि बुधवार को अधिवक्ता उत्सव सिंह बैंस ने कोर्ट में हलफनामा दायर कर दावा किया था कि शीर्ष अदालत के असंतुष्ट कर्मचारियों द्वारा फिक्सिंग का रैकेट चलाया जा रहा है और चीफ जस्टिस रंजन गोगई को फर्जी यौन उत्पीडऩ मामले में फंसाने की साजिश रची गई है।
उन्होंने सीलबंद लिफाफे में सीसीटीवी फुटेज सहित कुछ सुबूत सौंपे थे। मामले की जांच सुप्रीम कोर्ट की निगरानी में एसआईटी से करवाने के अटॉर्नी जनरल केके वेणुगोपाल और सॉलिसीटर जनरल तुषार मेहता के सुझाव पर बेंच ने कहा, यह जांच का मामला नहीं।

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