श्रीगंगानगर में संचालित ब्लड बैंक भी हैं राज्य रक्त संचरण परिषद के दायरे में
- नियमों की पालना नहीं करने वाले ब्लड बैंकों पर होगी सख्त कार्रवाई
- रक्त की अवैध खरीद-फरोख्त के बारे में कड़े निर्देश जारी
श्रीगंगानगर। नियमों की पालना नहीं करने वाले ब्लड बैंकों पर अब सख्त कार्रवाई की जाएगी। राज्य सरकार की ओर से खून की अवैध खरीद-फरोख्त को बढ़ावा देने वाली अनियमितताओं पर रोक लगाने, जरूरतमंद के लिए हमेशा रक्त की सुलभता एवं संक्रमण रहित रक्त एकत्रण की सुनिश्चितता के लिए निजी एवं सरकारी ब्लड बैंकों के लिए नियत दिशा निर्देशों की सख्ती से पालना करवाने के निर्देश दिए हैं. यह आदेश पूरे राज्य के साथ-साथ श्रीगंगानगर में संचालित किए जा रहे ब्लड बैंकों पर भी लागू होंगे।
इस आशय के आदेश गुरुवार को शासन सचिवालय में राजस्थान राज्य रक्त संचरण परिषद की गवर्निंग बॉडी की आठवीं बैठक की अध्यक्षता करते हुए चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव रोहित कुमार सिंह ने सम्बन्धित अधिकारियों को दिए।
बैठक में कहा गया कि बहुत बार देखा गया है कि ब्लड बैंक्स की ओर से रोगी के लिए खून प्रदान करते समय उसकी वास्तविक आवश्यकता पर ध्यान नहीं दिया जाता। ऐसे में एक तरफ न केवल गैर जरूरतमंद को अनावश्यक खून दे दिया जाता है, दूसरी ओर वास्तविक जरूरतमंद रोगी इससे वंचित रह जाता है। इस व्यवस्था में कई बार गड़बडिय़ों की शिकायतें भी सामने आती हैं।
बैठक मेेंं इसके लिए एक डिजिटल व्यवस्था बनाकर जरूरत के हिसाब से प्राथमिकता तय करने एवं ब्लड बैंक में आने वाली हर मांग पर्ची का ऑडिट करवाना सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए।
अतिरिक्त मुख्य सचिव ने कहा कि जिस रोगी को खून के किसी घटक विशेष की ही जरूरत है, उसे पूरे रक्त के बजाय वही घटक दिया जाना चाहिए। इसके लिए सरकारी ब्लड बैंक्स में रक्त के अवयव (घटक) निर्माण के लिए रक्त पृथक्करण इकाई स्थापित कर चरणबद्ध रूप से क्षमता संवद्र्धन की जानी चाहिए। इस सम्बन्ध में चिकित्सकों में भी जागरुकता बढ़ाने की जरूरत है। बैठक में विशिष्ट शासन सचिव एवं मिशन निदेशक एनएचएम डॉ. समित शर्मा, अतिरिक्त मिशन निदेशक एसएल कुमावत, निदेशक एड्स डॉ. आरपी डोरिया, एसएमएस चिकित्सालय की डॉ. सुनीता बुन्दास, परिषद के सदस्य सचिव डॉ. राजेन्द्र मित्तल एवं अन्य कार्यकारिणी सदस्य शामिल हुए।
ऐसे ब्लड बैंक होंगे निशाने पर
बैठक में ऐसे ब्लड बैंकों पर भी नियमों के अधीन कार्रवाई करने के निर्देश दिए गए, जो निर्धारित मासिक रिपोर्ट परिषद को नहीं दे रहे हैं। बैठक में निर्देश दिए गए कि रक्त को संक्रमण रहित रखने के लिए इसके संग्रहण के हर चरण व पहलू पर ध्यान देना जरूरी है। ऐसे में रक्तदान शिविर में रक्तदाता को रक्त देने से पूर्व एवं पश्चात सलाहकार द्वारा पूरी जानकारी देना सुनिश्चित किया जाना चाहिए।
रक्तदान शिविर से सात दिन पूर्व इस सम्बन्ध में राजस्थान राज्य रक्त संचरण परिषद को निर्धारित प्रपत्र में जानकारी नहीं देने वाले और शिविर में निर्धारित मानदण्ड के अनुसार रक्तदाता की जांच नहीं किए जाने पर सम्बन्धित ब्लड बैंक्स पर नियमानुसार सख्त कार्रवाई की जाए।
- रक्त की अवैध खरीद-फरोख्त के बारे में कड़े निर्देश जारी
श्रीगंगानगर। नियमों की पालना नहीं करने वाले ब्लड बैंकों पर अब सख्त कार्रवाई की जाएगी। राज्य सरकार की ओर से खून की अवैध खरीद-फरोख्त को बढ़ावा देने वाली अनियमितताओं पर रोक लगाने, जरूरतमंद के लिए हमेशा रक्त की सुलभता एवं संक्रमण रहित रक्त एकत्रण की सुनिश्चितता के लिए निजी एवं सरकारी ब्लड बैंकों के लिए नियत दिशा निर्देशों की सख्ती से पालना करवाने के निर्देश दिए हैं. यह आदेश पूरे राज्य के साथ-साथ श्रीगंगानगर में संचालित किए जा रहे ब्लड बैंकों पर भी लागू होंगे।
इस आशय के आदेश गुरुवार को शासन सचिवालय में राजस्थान राज्य रक्त संचरण परिषद की गवर्निंग बॉडी की आठवीं बैठक की अध्यक्षता करते हुए चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव रोहित कुमार सिंह ने सम्बन्धित अधिकारियों को दिए।
बैठक में कहा गया कि बहुत बार देखा गया है कि ब्लड बैंक्स की ओर से रोगी के लिए खून प्रदान करते समय उसकी वास्तविक आवश्यकता पर ध्यान नहीं दिया जाता। ऐसे में एक तरफ न केवल गैर जरूरतमंद को अनावश्यक खून दे दिया जाता है, दूसरी ओर वास्तविक जरूरतमंद रोगी इससे वंचित रह जाता है। इस व्यवस्था में कई बार गड़बडिय़ों की शिकायतें भी सामने आती हैं।
बैठक मेेंं इसके लिए एक डिजिटल व्यवस्था बनाकर जरूरत के हिसाब से प्राथमिकता तय करने एवं ब्लड बैंक में आने वाली हर मांग पर्ची का ऑडिट करवाना सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए।
अतिरिक्त मुख्य सचिव ने कहा कि जिस रोगी को खून के किसी घटक विशेष की ही जरूरत है, उसे पूरे रक्त के बजाय वही घटक दिया जाना चाहिए। इसके लिए सरकारी ब्लड बैंक्स में रक्त के अवयव (घटक) निर्माण के लिए रक्त पृथक्करण इकाई स्थापित कर चरणबद्ध रूप से क्षमता संवद्र्धन की जानी चाहिए। इस सम्बन्ध में चिकित्सकों में भी जागरुकता बढ़ाने की जरूरत है। बैठक में विशिष्ट शासन सचिव एवं मिशन निदेशक एनएचएम डॉ. समित शर्मा, अतिरिक्त मिशन निदेशक एसएल कुमावत, निदेशक एड्स डॉ. आरपी डोरिया, एसएमएस चिकित्सालय की डॉ. सुनीता बुन्दास, परिषद के सदस्य सचिव डॉ. राजेन्द्र मित्तल एवं अन्य कार्यकारिणी सदस्य शामिल हुए।
ऐसे ब्लड बैंक होंगे निशाने पर
बैठक में ऐसे ब्लड बैंकों पर भी नियमों के अधीन कार्रवाई करने के निर्देश दिए गए, जो निर्धारित मासिक रिपोर्ट परिषद को नहीं दे रहे हैं। बैठक में निर्देश दिए गए कि रक्त को संक्रमण रहित रखने के लिए इसके संग्रहण के हर चरण व पहलू पर ध्यान देना जरूरी है। ऐसे में रक्तदान शिविर में रक्तदाता को रक्त देने से पूर्व एवं पश्चात सलाहकार द्वारा पूरी जानकारी देना सुनिश्चित किया जाना चाहिए।
रक्तदान शिविर से सात दिन पूर्व इस सम्बन्ध में राजस्थान राज्य रक्त संचरण परिषद को निर्धारित प्रपत्र में जानकारी नहीं देने वाले और शिविर में निर्धारित मानदण्ड के अनुसार रक्तदाता की जांच नहीं किए जाने पर सम्बन्धित ब्लड बैंक्स पर नियमानुसार सख्त कार्रवाई की जाए।
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